राष्ट्रीय

एनएमसी: अधोमानकों के चलते एनएमसी ने की दो महीने में 40 मेडिकल कॉलेजों की मान्यता रद्द

राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग (एनएमसी) द्वारा निर्धारित मानकों का उल्लंघन करने के पर पिछले दो महीनों में लगभग 40 मेडिकल कॉलेज की मान्यता रद्द कर दी गई है।

आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि तमिलनाडु, गुजरात, असम, पंजाब, आंध्र प्रदेश, पुडुचेरी और पश्चिम बंगाल में करीब 100 और मेडिकल कॉलेज हैं जिनको इसी तरह की कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है। आधिकारिक सूत्रों के अनुसार

कॉलेज निर्धारित मानदंडों का पालन नहीं कर रहे थे। आयोग ने पाया कि किए गए निरीक्षण के दौरान सीसीटीवी कैमरों, आधार से जुड़ी बायोमेैट्रिक उपस्थिति और फैकल्टी रोल से संबंधित कई खामियां पाई गईं।

मेडिकल कॉलेजों की मान्यता रद्द करने पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए चिकित्सा क्षेत्र के विशेषज्ञों ने कहा कि एनएमसी काफी हद तक आधार से जुड़ी बायोमेट्रिक उपस्थिति प्रणाली पर निर्भर है, जिसके लिए यह केवल उन फैकल्टी पर विचार करता है जो सुबह आठ बजे से दोपहर दो बजे तक दिन के समय ड्यूटी पर होते हैं।
एक विशेषज्ञ ने कहा कि डॉक्टरों के काम के घंटे तय नहीं होते हैं। उन्हें इमरजेंसी और नाइट शिफ्ट में भी काम करना पड़ता है। इसलिए काम के घंटे को लेकर एनएमसी की सख्ती ने इस मुद्दे को पैदा किया है। मेडिकल कॉलेजों के लिए ऐसा सूक्ष्म प्रबंधन व्यावहारिक नहीं है और एनएमसी को ऐसे मुद्दों के प्रति लचीला होना चाहिए। एक अन्य विशेषज्ञ ने कहा, एनएमसी कमियों को मानते हुए मेडिकल कॉलेजों की मान्यता रद्द कर रहा है। साथ ही एनएमसी ने ऐसे कॉलेजों में छात्रों के पंजीकरण की भी अनुमति दे दी है, जो कि विरोधाभासी है। इसके अलावा, इस तरह के प्रयोग से वैश्विक स्तर पर भारत की छवि धूमिल हो रही है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *